PM Modi ने शनिवार सुबह सोशल मीडिया प्लेटफार्म ‘X’ (पूर्व में ट्विटर) पर एक भावुक ब्लॉग पोस्ट किया, जिसमें उन्होंने भारतीय उद्योगपति रतन टाटा को श्रद्धांजलि अर्पित की। पीएम मोदी ने इस पोस्ट में लिखा, “रतन टाटा जी को हमसे अलविदा हुए लगभग एक महीना हो गया है। उनका भारतीय उद्योग में योगदान हमेशा याद किया जाएगा और यह देशवासियों को प्रेरित करता रहेगा।” प्रधानमंत्री मोदी ने आगे लिखा, “जब रतन टाटा जी के निधन की खबर आई, उस समय मैं एशियाई शिखर सम्मेलन के लिए रवाना होने की तैयारी कर रहा था। रतन टाटा जी के जाने का दुख अभी भी मेरे मन में है। इस दर्द को भूलना आसान नहीं है। रतन टाटा जी के रूप में भारत ने अपने महान सपूत को खो दिया है, एक अनमोल रत्न को खो दिया है।”
रतन टाटा की विनम्रता और नेतृत्व
PM Modi ने अपने ब्लॉग में रतन टाटा के नेतृत्व के बारे में लिखा, “रतन टाटा जी के नेतृत्व में टाटा ग्रुप ने नई ऊँचाइयाँ हासिल कीं और यह पूरी दुनिया में सम्मान, ईमानदारी और विश्वसनीयता का प्रतीक बन गया। इसके बावजूद उन्होंने अपनी उपलब्धियों को अत्यंत विनम्रता और सहजता से स्वीकार किया। दूसरों के सपनों को साकार करने में मदद करना, यह रतन टाटा जी की सबसे महान विशेषताओं में से एक था।”
उन्होंने आगे लिखा, “रतन टाटा जी हमेशा बेहतरीन गुणवत्ता वाले उत्पादों और सेवाओं पर जोर देते थे, और उन्होंने भारतीय उद्योगों को वैश्विक मानकों को स्थापित करने का मार्ग दिखाया। आज, जब भारत 2047 तक विकास के लक्ष्य की ओर बढ़ रहा है, तो हम वैश्विक मानकों को स्थापित करके ही दुनिया में अपना ध्वज लहरा सकते हैं। रतन टाटा जी का जीवन हमें यह याद दिलाता है कि नेतृत्व केवल उपलब्धियों से नहीं मापा जाता, बल्कि यह इस बात पर भी निर्भर करता है कि वह सबसे कमजोर लोगों का कैसे ख्याल रखता है।”
गुजरात में साथ काम करने का अनुभव
प्रधानमंत्री मोदी ने रतन टाटा के साथ अपने व्यक्तिगत अनुभव को साझा करते हुए लिखा, “व्यक्तिगत रूप से, मुझे पिछले कुछ दशकों में उन्हें बहुत करीब से जानने का अवसर मिला। हम गुजरात में एक साथ काम करते थे, जहां उनकी कंपनियों द्वारा बड़े पैमाने पर निवेश किए गए थे। इनमें कई ऐसे प्रोजेक्ट थे जिनके लिए वह बेहद उत्साही थे। जब मैं केंद्रीय सरकार में आया, तो हमारी निकटता जारी रही और वह हमारे देश निर्माण के प्रयासों में एक समर्पित साझीदार बने रहे। स्वच्छ भारत मिशन के प्रति उनका उत्साह खास तौर पर मेरे दिल को छू गया। वह इस जन आंदोलन के मुखर समर्थक थे।”
कैंसर से लड़ाई
प्रधानमंत्री मोदी ने रतन टाटा की कैंसर से लड़ाई के प्रति प्रतिबद्धता का भी उल्लेख किया, “कैंसर से लड़ाई उनके दिल के करीब एक और लक्ष्य था। मुझे वह कार्यक्रम याद है, जब हम असम में एक साथ राज्य में विभिन्न कैंसर अस्पतालों का उद्घाटन कर रहे थे। कुछ हफ्ते पहले, जब मैं वडोदरा में था और स्पेन के प्रधानमंत्री श्री पेड्रो सांचेज़ के साथ एक विमान निर्माण कारखाने का उद्घाटन कर रहा था, तो यह रतन टाटा जी ही थे जिन्होंने इस परियोजना पर काम शुरू किया था। उस समय मुझे रतन टाटा जी की बहुत याद आई।”
रतन टाटा का योगदान
प्रधानमंत्री मोदी ने रतन टाटा के योगदान को रेखांकित करते हुए लिखा, “रतन टाटा जी का योगदान केवल उद्योग क्षेत्र में नहीं था, बल्कि उन्होंने समाज के विभिन्न पहलुओं में भी अपनी छाप छोड़ी। उनका जीवन समर्पण, कर्मठता और महानता का उदाहरण है। उन्होंने जो कुछ भी किया, वह हमेशा दूसरों के भले के लिए था। उनका निधन हमारे लिए एक अपूरणीय क्षति है, लेकिन उनका योगदान हमें हमेशा प्रेरित करता रहेगा।”
प्रधानमंत्री मोदी का यह ब्लॉग रतन टाटा की महानता और उनके योगदान को याद करने का एक प्रयास है। रतन टाटा ने न केवल भारतीय उद्योग को नई ऊँचाइयों तक पहुंचाया, बल्कि समाज के प्रत्येक क्षेत्र में अपनी भागीदारी से यह साबित किया कि एक सच्चा नेता सिर्फ अपने कार्यों से नहीं, बल्कि अपनी मानवता से भी पहचाना जाता है। उनके निधन से जो खालीपन आया है, वह शायद कभी पूरा नहीं हो सकता, लेकिन उनका योगदान और उनकी शिक्षाएं हमेशा हमें मार्गदर्शन देती रहेंगी।