Meerut Murder Case: मेरठ में एक भयानक हत्या का मामला सामने आया है, जिसमें पुलिस ने एक अनजान शव की पहचान करने के लिए एक अनोखा तरीका अपनाया। पुलिस ने जब शव को देखा, तो उसकी पहचान करना एक कठिन कार्य था क्योंकि सिर में गोली लगने से उसका चेहरा विकृत हो गया था। इस मामले में, शव की शर्ट के कॉलर ने पुलिस को हत्यारों तक पहुँचाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई।
घटना का आरंभ
यह मामला तब शुरू हुआ जब सरूरपुर पुलिस थाना क्षेत्र में एक शव मिला। इस शव की पहचान करने के लिए पुलिस को बहुत मेहनत करनी पड़ी। शव की स्थिति को देखते हुए, पहचान करना मुश्किल हो रहा था। पुलिस के अधिकारियों ने शव को पोस्टमार्टम के लिए भेजने की तैयारी की, तभी सरूरपुर थाने के SO, अजय शुक्ला ने शव की शर्ट पर नाम देखा। उस पर लिखा था “गोल्डन टेलर्स, बुद्दाना।”
टेलर की पहचान
पुलिस ने गोल्डन टेलर्स के मालिक से संपर्क किया, जो बुद्दाना में काफी प्रसिद्ध था। एक पुलिसकर्मी को बुद्दाना भेजा गया, जहां उसे शव की तस्वीर और शर्ट का लोगो दिखाया गया। टेलर ने शव को पहचान लिया और बताया कि यह मर्सलीन है, जो उसका स्थायी ग्राहक था। जब टेलर ने रजिस्टर खोला, तो पता चला कि मर्सलीन ने अप्रैल में अपनी शर्ट सिलवाने के लिए टेलर से संपर्क किया था।
मर्सलीन का आपराधिक इतिहास
शव की पहचान होने के बाद पुलिस ने मर्सलीन के परिवार से मुलाकात की। परिवार ने पुलिस को बताया कि मर्सलीन के साथ तीन लोगों का नाम जुड़ा हुआ था, जो संभवतः उसकी हत्या के लिए जिम्मेदार हो सकते हैं। पुलिस ने तुरंत विभिन्न टीमों का गठन किया और मुझम्मिल, हारून और आस मोहम्मद को गिरफ्तार कर लिया।
मर्सलीन के बारे में जानकारी मिली कि वह एक हिस्ट्रीशीटर था, और उसके साथ दुश्मनी के चलते उसकी हत्या होने की संभावना थी। हालाँकि, जब तक पूरी सच्चाई सामने नहीं आई, तब तक कुछ कहना जल्दबाजी होगी।
हत्या की कहानी
पुलिस ने जब मुझम्मिल, हारून और आस मोहम्मद से पूछताछ की, तो उन्होंने हत्या की पूरी कहानी सुनाई। तीनों ने बताया कि मर्सलीन के साथ संपत्ति और पैसे को लेकर विवाद चल रहा था। मर्सलीन अपने पैसे वापस मांग रहा था और इस पर बहस बढ़ गई। मामला इतना बढ़ गया कि उन्होंने मर्सलीन की हत्या कर दी।
उन्होंने मर्सलीन को एक स्विफ्ट कार में लाया और फिर मोटरसाइकिल के क्लच वायर से उसका गला घोंट दिया। लेकिन जब उन्हें लगा कि मर्सलीन अभी भी जिंदा है और उन्हें पकड़ सकता है, तो उन्होंने उसे गोली मारकर हत्या कर दी। ये तीनों इस बात से अनजान थे कि पुलिस शर्ट के कॉलर के माध्यम से उनके पास पहुँच जाएगी।
पुलिस की मेहनत और सफलता
इस हत्या का मामला एक प्रकार से ‘अंधेरे में तीर ढूँढने’ जैसा था, लेकिन सरूरपुर SO अजय शुक्ला और एसओजी की टीम ने मिलकर मामले का खुलासा किया। मेरठ के ग्रामीण SP, राकेश कुमार मिश्रा ने एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में हत्या की जानकारी दी। पुलिस ने आरोपियों के पास से वह पिस्टल, कारतूस, खोल और स्विफ्ट कार का क्लच वायर भी बरामद किया, जिसका उपयोग मर्सलीन के गले को घोंटने में किया गया था।
पुलिस टीम को इनाम की घोषणा
ग्रामीण SP ने बताया कि आस मोहम्मद के खिलाफ बुलंदशहर में कई मामले दर्ज हैं और मुझम्मिल और हारून का आपराधिक इतिहास भी खंगाला जा रहा है। इस मामले में SSP, डॉ. विपिन ताड़ा ने पुलिस टीम के लिए 25,000 रुपये का इनाम घोषित किया है।
इस मामले ने यह साबित कर दिया है कि पुलिस की सजगता और मेहनत किसी भी जटिल मामले को सुलझाने में कितनी प्रभावी हो सकती है। पुलिस ने न केवल शव की पहचान की बल्कि हत्या के पीछे की कहानी को भी उजागर किया।
इस प्रकार के मामलों में पुलिस की तत्परता और तकनीकी कौशल महत्वपूर्ण होता है। मेरठ पुलिस ने एक बार फिर से साबित किया है कि वे शहर की सुरक्षा के प्रति प्रतिबद्ध हैं। इस घटना से यह भी सीखने को मिलता है कि न्याय पाने के लिए किस प्रकार से सूक्ष्म विवरणों का ध्यान रखना आवश्यक होता है।