गुरुवार को लखनऊ नगर निगम की सदन बैठक कूड़ा प्रबंधन की बदहाली को लेकर हंगामे में बदल गई। बैठक की शुरुआत होते ही पार्षदों और अधिकारियों के बीच तकरार शुरू हो गई। हंगामा इतना बढ़ गया कि मेयर सुषमा खर्कवाल को सदन छोड़कर बाहर जाना पड़ा।
लखनऊ नगर निगम की सदन बैठक शुरू होते ही भाजपा पार्षद मुकेश सिंह मोंटी समाजवादी पार्टी खेमे में बैठ गए। इससे पहले मोंटी ने भाजपा महानगर अध्यक्ष को अपना इस्तीफा भेजा था, लेकिन उसे मंजूरी नहीं मिली। फिलहाल सदन की कार्यवाही स्थगित कर दी गई है और मोंटी को महापौर ने अपने कक्ष में बुलाया।
नगर निगम की यह बैठक लंबे समय बाद हो रही थी। मोंटी ने उपेक्षा का आरोप लगाया और महापौर पर सुनवाई न करने का भी आरोप लगाया। नगर निगम में भाजपा पार्षदों के बीच चल रही खींचतान का यह नतीजा सामने आया।
लखनऊ नगर निगम की सदन बैठक में पार्षदों ने कूड़ा प्रबंधन की बदहाली पर अधिकारियों को घेरा। उन्होंने आरोप लगाया कि कूड़ा प्रबंधन का काम देखने वाली एजेंसी ‘मेसर्स लखनऊ स्वच्छता अभियान’ लापरवाही कर रही है। इसी वजह से शहर से कूड़ा समय पर नहीं उठ पा रहा है और नागरिकों को परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है।
पार्षदों की शिकायतों के जवाब में महापौर ने कहा कि लापरवाही करने वाली एजेंसी के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी। यह कार्रवाई शहरवासियों की समस्याओं को तुरंत हल करने और कूड़ा प्रबंधन को सुचारू बनाने के उद्देश्य से की जाएगी।