Bareilly News: बरेली के शिकारपुर चौधरी गांव में एक दिल दहला देने वाली घटना सामने आई है, जिसमें एक चार साल की मासूम बच्ची मिस्ट्री की हत्या की गई। यह हत्या ताई सावित्री द्वारा की गई, जिसने बच्ची को गला घोंटकर हत्या करने के बाद शव को एक बोरी में छिपा दिया। इस घटना ने गांव में हड़कंप मचा दिया है और पुलिस द्वारा की गई कार्रवाई ने लोगों को स्तब्ध कर दिया है।
घटना का विवरण
शनिवार को मिस्ट्री अपने घर के बाहर खेल रही थी जब वह अचानक लापता हो गई। उसकी मां, जो कि बरेली के इज्जतनगर पुलिस थाने के अंतर्गत आने वाले शिकारपुर चौधरी गांव में रहती है, ने जब अपनी बेटी को नहीं पाया, तो उसकी खोज शुरू की। रात के समय पुलिस ने मिस्ट्री का शव राधू की सास सावित्री के घर से एक बोरी में छिपा हुआ बरामद किया।
सावित्री का बयान
मामले की जांच के दौरान, सावित्री ने पुलिस को बताया कि मिस्ट्री उसके परिवार के सदस्यों की तुलना में अधिक जुड़ी हुई थी। वह अक्सर उसके घर आती थी और शनिवार को भी वह उसके घर में खेल रही थी। सावित्री के अनुसार, मिस्ट्री जब छत पर चढ़ने के लिए ईंटों पर चढ़ रही थी, तभी अचानक गिर गई और उसके सिर में चोट लग गई।
सावित्री ने कहा कि जब मिस्ट्री बेहोश हो गई, तो उसे डर था कि कहीं उसकी हत्या का आरोप न लगे। इसी डर के चलते, उसने मासूम का गला घोंट दिया।
हत्या के पीछे का डर
सावित्री ने यह भी बताया कि उसका एक मामा 1994 में हत्या के मामले में जेल गया था। उसे डर था कि अगर मिस्ट्री की हत्या का आरोप उस पर लगता है, तो उसका मामा उसे भी मार सकता है। इसी डर के चलते उसने मिस्ट्री की हत्या की।
शव छिपाने की योजना
हत्या के बाद, सावित्री ने मिस्ट्री के शव को एक बोरी में छिपा दिया और रात के समय उसे फेंकने का योजना बनाई थी। लेकिन, उससे पहले ही पुलिस ने उसे पकड़ लिया।
पुलिस की कार्रवाई
बरेली के पुलिस अधीक्षक उत्तर मुकेश चंद्र मिश्रा ने पुष्टि की कि सावित्री ने मिस्ट्री का गला घोंटकर हत्या की। पुलिस ने उसे गिरफ्तार कर लिया है और उससे पूछताछ की जा रही है। इस मामले में सावित्री के ससुराल के गंगाराम का आरोप साबित नहीं हुआ है, लेकिन पुलिस उसकी भी जांच कर रही है।
गांव में फैली दहशत
इस घटना ने शिकारपुर चौधरी गांव में दहशत फैला दी है। लोग हैरान हैं कि एक महिला कैसे अपनी ही परिवार की बच्ची की हत्या कर सकती है। गांव के लोग इस मामले में पुलिस की कार्रवाई की सराहना कर रहे हैं, लेकिन वे चाहते हैं कि सावित्री को कड़ी सजा मिले ताकि भविष्य में ऐसी घटनाएं न हों।
मानसिक स्वास्थ्य की आवश्यकता
यह घटना यह दर्शाती है कि समाज में मानसिक स्वास्थ्य का ध्यान रखना कितना महत्वपूर्ण है। सावित्री का बयान यह संकेत करता है कि वह कितनी दहशत और मानसिक तनाव में थी। समाज में ऐसे कई लोग हैं जो अपनी समस्याओं को सही तरीके से संभाल नहीं पाते हैं और ऐसे जघन्य अपराधों का सहारा लेते हैं।
बच्चों की सुरक्षा पर ध्यान
यह मामला बच्चों की सुरक्षा पर भी सवाल खड़ा करता है। माता-पिता को चाहिए कि वे अपने बच्चों की सुरक्षा को प्राथमिकता दें और उन्हें सुरक्षित स्थानों पर खेलने के लिए प्रोत्साहित करें।
इस जघन्य हत्या की घटना ने समाज को झकझोर कर रख दिया है। यह हमें यह सोचने पर मजबूर करती है कि हमें अपने आस-पास के लोगों की मानसिक स्थिति का ध्यान रखना चाहिए और ऐसे मामलों में तेजी से कार्रवाई करनी चाहिए। सावित्री की गिरफ्तारी से यह संदेश मिलता है कि कानून अपना काम करेगा, लेकिन हमें भी अपनी जिम्मेदारियों को समझना होगा।